सीबीएमआर ने मनाया 19वां स्थापना दिवस,
एम्स रायबरेली व लोहिया संस्थान से हुआ शोध समझौता
छह वैज्ञानिक सम्मानित, प्रो. अशुतोष शर्मा ने दिया स्मृति व्याख्यान
लखनऊ, 23 जुलाई। केंद्र जैवचिकित्सा अनुसंधान (सीबीएमआर) ने मंगलवार को अपने 19वें स्थापना दिवस के अवसर पर वैज्ञानिक नवाचार और सहयोग की दिशा में कई अहम पहल की। इस अवसर पर डॉ. राम मनोहर लोहिया संस्थान, एम्स रायबरेली, केंद्रीय होम्योपैथी अनुसंधान परिषद और एमिटी विश्वविद्यालय लखनऊ के साथ सहयोग समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए।
मुख्य अतिथि उपमुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि “सीबीएमआर प्रदेश का गौरव है, जो न्यूरोइमेजिंग, बायोमार्कर खोज और ट्रांसलेशनल मेडिसिन में उत्कृष्ट कार्य कर रहा है।” उन्होंने संस्थान को संरचना विस्तार और वैज्ञानिक संसाधन बढ़ाने का आश्वासन दिया।
निदेशक प्रो. आलोक धवन ने वर्षभर की उपलब्धियों की रिपोर्ट प्रस्तुत की और क्यू-लाइन बायोटेक प्रा. लि. के साथ प्रौद्योगिकी हस्तांतरण (ईओआई) की घोषणा की।
इस अवसर पर “सीबीएमआर रिसर्च पब्लिकेशन अवार्ड” से छह वैज्ञानिकों को सम्मानित किया गया:
डॉ. अरुण कुमार तिवारी
डॉ. पूजा शर्मा
डॉ. अवनीश कुमार
डॉ. नवनीत कुमार
डॉ. नूतन पांडेय
डॉ. रोहित मिश्रा
इन शोधकर्ताओं ने न्यूरोबायोलॉजी, मेटाबोलिक डिसऑर्डर और कैंसर बायोलॉजी जैसे क्षेत्रों में महत्वपूर्ण शोध प्रकाशित किए हैं।
विशिष्ट व्याख्यान सी.एल. खेतरपाल स्मृति व्याख्यान के रूप में प्रो. अशुतोष शर्मा (पूर्व विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी सचिव, भारत सरकार) ने दिया। उन्होंने नैनोटेक्नोलॉजी और कृत्रिम बुद्धिमत्ता के माध्यम से स्वास्थ्य सेवा में संभावित परिवर्तन पर विचार रखे और युवाओं को अनुशासन-पार शोध के लिए प्रेरित किया।
डीन प्रो. नीरज सिन्हा ने समापन में सभी प्रतिभागियों, अतिथियों और आयोजकों का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम में देशभर के लगभग 300 शोधार्थियों और शिक्षाविदों की भागीदारी रही।

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