विटामिन D की कमी से पुरुषों में टेस्टोस्टेरोन का स्तर घटता है: डेनमार्क में हुए अध्ययन से खुलासा
डेनमार्क के शोधकर्ताओं द्वारा किए गए एक विस्तृत अध्ययन से यह पता चला है कि विटामिन D की कमी पुरुषों में टेस्टोस्टेरोन उत्पादन को प्रभावित कर सकती है, जिससे प्रजनन क्षमता, हड्डियों की मजबूती और मांसपेशियों के स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
🔬 अध्ययन का विवरण
यह अध्ययन कोपेनहेगन बोन-गोनाडल स्टडी (Copenhagen Bone-Gonadal Study) के तहत 2011 से 2014 के बीच किया गया, जिसमें कुल 1,427 पुरुषों को शामिल किया गया। इनमें से 1,248 पुरुषों के डेटा का विश्लेषण किया गया, जबकि 179 पुरुषों को गंभीर बीमारियों या एनाबोलिक स्टेरॉयड के उपयोग के कारण बाहर रखा गया।
📊 प्रमुख निष्कर्ष
विटामिन D और शुक्राणु गतिशीलता: जिन पुरुषों के शरीर में विटामिन D का स्तर 75 nmol/L से अधिक था, उनमें शुक्राणुओं की गतिशीलता और कुल संख्या उन पुरुषों की तुलना में 66% और 111% अधिक पाई गई, जिनका विटामिन D स्तर 25 nmol/L से कम था।
हार्मोनल असंतुलन: विटामिन D की कमी वाले पुरुषों में सेक्स-हार्मोन-बाइंडिंग ग्लोब्युलिन (SHBG) और टेस्टोस्टेरोन/एस्ट्राडियोल अनुपात क्रमशः 15% और 14% कम पाया गया, जबकि फ्री टेस्टोस्टेरोन और एस्ट्राडियोल अनुपात क्रमशः 6% और 13% अधिक था।
कैल्शियम का प्रभाव: कम आयनित कैल्शियम स्तर वाले पुरुषों में प्रगतिशील शुक्राणु गतिशीलता और इनहिबिन B/FSH अनुपात अधिक था, लेकिन टेस्टोस्टेरोन/एस्ट्राडियोल अनुपात कम पाया गया।
🧪 प्रयोगशाला परीक्षण
शोधकर्ताओं ने उन पुरुषों के अंडकोषीय ऊतकों का भी अध्ययन किया, जिनका एक अंडकोष शल्य चिकित्सा द्वारा हटाया गया था। इन ऊतकों को सक्रिय विटामिन D के संपर्क में लाने पर, उन्होंने अधिक मात्रा में टेस्टोस्टेरोन का उत्पादन किया, जिससे यह संकेत मिलता है कि विटामिन D सीधे अंडकोषीय ऊतकों में टेस्टोस्टेरोन उत्पादन को प्रभावित कर सकता है।
💡 निष्कर्ष
यह अध्ययन दर्शाता है कि विटामिन D की पर्याप्त मात्रा पुरुषों के हार्मोनल स्वास्थ्य और प्रजनन क्षमता के लिए महत्वपूर्ण है। विटामिन D की कमी न केवल टेस्टोस्टेरोन के स्तर को घटा सकती है, बल्कि यह हड्डियों की कमजोरी और मांसपेशियों की हानि का कारण भी बन सकती है।
✅ सिफारिशें
विटामिन D की जांच: पुरुषों को अपने विटामिन D स्तर की नियमित जांच करानी चाहिए, विशेषकर यदि वे थकान, मांसपेशियों की कमजोरी या यौन क्षमता में कमी महसूस कर रहे हों।
सूर्य प्रकाश: प्राकृतिक सूर्य प्रकाश विटामिन D का प्रमुख स्रोत है; इसलिए, प्रतिदिन कम से कम 15-20 मिनट सूर्य के संपर्क में रहना लाभकारी हो सकता है।
आहार और सप्लीमेंट्स: विटामिन D युक्त आहार (जैसे मछली, अंडे, दूध) का सेवन बढ़ाएं और आवश्यक होने पर चिकित्सक की सलाह से विटामिन D सप्लीमेंट्स लें।
यह अध्ययन पुरुषों के स्वास्थ्य में विटामिन D की भूमिका को समझने में एक महत्वपूर्ण कदम है और इसके निष्कर्ष भविष्य में प्रजनन स्वास्थ्य से संबंधित उपचारों में सहायक हो सकते हैं।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें