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दुर्लभ मूत्राशय ट्यूमर का दुनिया में पहली बार अल्ट्रा–मिनिमली इनवेसिव ऑपरेशन
संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान ने रोबोटिक सर्जरी के क्षेत्र में एक और बड़ी उपलब्धि दर्ज की है। संस्थान के डॉक्टरों ने मूत्राशय के एक अत्यंत दुर्लभ ट्यूमर का अल्ट्रा–मिनिमली इनवेसिव रोबोटिक तकनीक से सफल ऑपरेशन किया है। विशेषज्ञों के अनुसार, इस तरह की सर्जरी विश्व में पहली बार की गई है।
यह जटिल सर्जरी 60 वर्षीय मरीज पर की गई, जिन्हें पेशाब के दौरान अचानक चक्कर आना, बार-बार बेहोश होना, दिल की धड़कन तेज़ होना, सिरदर्द और अत्यधिक ब्लड प्रेशर बढ़ने जैसी गंभीर समस्याएं हो रही थीं। जांच में सामने आया कि मरीज को मूत्राशय का ऐसा दुर्लभ ट्यूमर है, जिससे हार्मोन निकलते हैं और यही हार्मोन इन जानलेवा लक्षणों का कारण बन रहे थे।
इस ऑपरेशन का नेतृत्व संस्थान के के यूरोलॉजी विभाग के प्रोफेसर उदय प्रताप सिंह ने किया। उनकी टीम में डॉ. संचित रुस्तगी और डॉ स्निग्ध गर्ग शामिल रहे। सर्जरी अत्याधुनिक रोबोटिक सिस्टम की मदद से सीधे मूत्राशय के अंदर से, बिना किसी बड़े चीरे के की गई, जिससे आसपास के अंगों को नुकसान पहुंचने का खतरा नहीं रहा।
प्रो. उदय प्रताप सिंह के अनुसार, सामान्यतः ऐसे ट्यूमर का ऑपरेशन पेट में बड़ा चीरा लगाकर या दूरबीन विधि से किया जाता है, लेकिन रोबोटिक तकनीक से सर्जरी अधिक सुरक्षित, कम दर्द वाली और तेजी से रिकवरी देने वाली साबित हुई।
ऑपरेशन के दौरान एनेस्थीसिया टीम की भूमिका भी बेहद अहम रही, क्योंकि ट्यूमर को छूते ही मरीज का ब्लड प्रेशर अचानक बहुत बढ़ जाता था। इस दौरान प्रो. संजय धीरज, प्रो. अमित रस्तोगी, डॉ. प्रकाश चंद्र और सीनियर रेज़िडेंट डॉ. शिवेक ने मरीज की स्थिति को पूरी तरह नियंत्रित रखा।
सर्जरी को सफल बनाने में ऑपरेशन थिएटर टीम का भी महत्वपूर्ण योगदान रहा। रोबोटिक ओटी इंचार्ज मनोज कुमार और सीनियर नर्सिंग ऑफिसर लिजी जोसेफ सहित पूरी टीम ने अहम भूमिका निभाई। इस सफलता से SGPGIMS ने देश ही नहीं, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी अपनी चिकित्सा क्षमता का लोहा मनवाया है।






















