अोवल्युशन इंडक्शन थिरेपी से बन सकती है
मां
पीजीआई अब भरेगा सूनी गोद
40 फीसदी में ओवैरियन रिजर्व खडी कर रहा है गर्भधारण में बाधा
तीस के बाद शादी करने वाली 38 से 42 फीसदी महिलाओं की गोद सूनी होने का कारण ओवैरियन रिजर्व
देखा गया है। इस तथ्य का खुलासा संजय गाधी पीजीआई के एमअारएच( मैटर्नल एंड
रिप्रोडेक्टिव हेल्थ) विभाग की प्रो. इंदु लता साहू ने करते हुए बताया कि सही मैनेजमेंट से इस परेशानी से ग्रस्त पचास
फीसदी महिलाअों में गर्भधारण हो जाता है। बताया कि ट्रांस वेजाइन अल्ट्रासाउंड
करके हम पहले अंडो की मानीटरिंग करते है जिसमें अंडो की संख्या, कितने दिनों में अंडो मेच्योर हो रहे है की जानकारी हासिल
करते है। अंडो की संख्या कम होने पर अोवल्युशन इंडक्शन थिरेपी देते है जिससे अंडो
की संख्या बढ जाती है। दंपति को साथ रहने के लिए कहते है । इस दौरान 30 से 40 फीसदी महिलाएं गर्भधारण कर लेती है। कई बार साथ रहने
के बाद गर्भधारण नहीं पाता है एेसे में इंट्रा यूट्राइन इंसीमेशन(आईयूआई) तकनीक से
स्पर्म को इंजेक्ट करते है। इस तकनीक से 10 से 15 फीसद महिलाएं गर्भधारण कर लेती है। हम लोगों ने अभी दौ से
अधिक महिलाअों आईयूआई किया है। इंफर्टलिटी के
मामले हम लोग देख रहे है जिसके लिए संपर्क किया जा सकता है।
क्या है ओवैरियन रिजर्व
30 साल से अधिक उम्र होने के बाद अंडो संख्या कम होने
लगती है। एक अोवरी में पांच से अधिक अंडो की संख्या होनी चाहिए
लेकिन उम्र अधिक होने के कारण संख्या कम हो जाती है जिसके कारण गर्भधारण नहीं होता
है। कहा कि लड़कियों की शादी 25 से 30 की उम्र के बीच करनी चाहिए। तीस
के बाद गर्भधारण में परेशानी के साथ ही गर्भधारण होने के बाद कई तरह की परेशानी की अाशंका रहती है।
50 फीसदी दंपति नहीं जानते फर्टलिटी पीरियड
प्रो. इंदु ने बताया कि हमारे पास अाने वाले 50 फीसदी दंपति को फर्टलिटी पीरियड के बारे में जानकारी नहीं
होती है। यह वह समय जब साथ रहने से गर्भधारण की संभवना सबसे अधिक रहती है। बताया
कि पीरियड के 14 वें दिन से पांच दिन पहले और तीन दिन बाद का समय
फर्टलिटी पीरियड होता है। कई मामले तो सही समय बताने से ही साल्व हो जाते है।
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